22 अप्रैल 2025 का वह काला दिन, जब कश्मीर के पहलगाम में पाकिस्तानी दहशतगर्दों ने निर्दोष हिन्दू पर्यटकों को सिर्फ उनके धर्म के आधार पर निशाना बनाया। बेसरन घाटी में खून की होली खेली गई – 26 मासूमों को गोलियों से भून डाला गया, कई घायल हुए। ये कोई आम हमला नहीं था – यह जिहादी नफरत का वह स्याह सच था, जिसमें आतंकियों ने पहले पूछा, ‘तुम हिन्दू हो?’ और फिर ट्रिगर दबा दिया!
कश्मीर भारत का मुकुट है, और हिन्दुओं का खून इसकी शान नहीं!
कश्मीर हमेशा से भारत की शान रहा है, लेकिन आज वहां हिन्दुओं को सिर्फ इसलिए मारा जा रहा है क्योंकि वे हिन्दू हैं। ये आतंकी नहीं पूछते कि तुम किस जाति के हो, किस राज्य के हो – बस तुम्हारा धर्म देखकर गोली चला देते हैं। अगर आज हम हिन्दू-मुस्लिम-सिख-ईसाई के झगड़ों में उलझे रहे, तो कल यही दरिंदे हम सबको अलग-अलग करके एक-एक करके मार डालेंगे!
ये हमला पाकिस्तान ने करवाया है—और भारतीय सेना इसका मुंहतोड़ जवाब देगी!
इन आतंकियों की पैदाइश पाकिस्तान की फैक्ट्रियों में हुई है। ये वही देश है जो ‘कश्मीर बनाएगा पाकिस्तान’ के नारे लगाता है, लेकिन असलियत यह है कि कश्मीर भारत का अटूट अंग है, और हमारी सेना इन जिहादी कायरों को मौत के घाट उतारेगी। पर सेना का मनोबल तभी बढ़ेगा जब पूरा देश एकजुट होकर खड़ा होगा।
अब बहस नहीं, बदला लेना है!
ये वक्त ‘हिन्दू-मुस्लिम’ की बहस का नहीं, बल्कि ‘भारत बनाम आतंक’ की लड़ाई का है। अगर आज हम बंटे, तो कल हमारी बारी भी आएगी। हमारी एकता ही हमारी ताकत है – और इसी ताकत से हम पाकिस्तानी आतंकवाद को धूल चटाएंगे।